Green People (ग्रीन पीपल)
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Green People (ग्रीन पीपल)


अधिकांश भारतीय 2013 में आई विनाशकारी उत्तराखंड बाढ़ के बारे में जानते हैं, लेकिन उसके बाद वहाँ आई एक और त्रासदी के बारे में बहुत कम लोग जानते हैं. बड़े पैमान पर लोग गाँव छोड़-छोड़़कर जाने लगे, जिससे लगभग 1,000 गाँव खाली हो गए.

यह मानते हुए कि गाँव के लोगों को आत्मनिर्भर बनाने से माइग्रेशन कम हो सकता है, होटल मैनेजमेंट में पहले काम कर चुके रुपेश राय ने बंदना राय, मणि महेश और प्रदीप पवार के साथ मिलकर एक सेना अधिकारी (सेवानिवृत्त) कर्नल अजय कोठियाल के साथ साझेदारी की और 2015 में Green People की शुरुआत की.

आज, Green People दो नए प्रोजेक्ट पर काम कर रहा है - The Goat Village (द गोट विलेज) और Bakri Chhap (बकरी छाप). The Goat Village एक होमस्टे बिज़नेस है जिसमें खाली हुए गाँवों में टूरिज़म को ध्यान में रखते हुए उन्हें फिर से बसाने के लिए काम किया जा रहा है, जबकि Bakri Chhap स्थानीय लोगों के फ़ार्म प्रोडक्ट को बेचने में मदद करता है.

रुपेश का कहना है “तीन साल से भी कम समय में, सब-हिमालयन ट्रेक नाग टिब्बा में लोगों का आना 40 गुना बढ़ गया है. जहाँ पहले हर साल सिर्फ़ 1200 लोग ट्रेकिंग पर आते थे, अब 47,000 ट्रेकिंग प्रेमी यहाँ आते हैं. Bakri Chhap के माध्यम से हमसे 80 किसान सीधे तौर पर और 500 किसान अलग से जुड़े हुए हैं. हम बिचौलियों को हटाकर लक्ज़री होटलों को उचित दामों पर क्वॉलिटी प्रोडक्ट प्रदान करते हैं.”

“हमने पहले दिन से ही WhatsApp का इस्तेमाल शुरू कर दिया था”

WhatsApp इस सामाजिक पहल के लिए हमेशा से उपयोगी रहा है.

रुपेश बताते हैं, “हमने पहले दिन से ही WhatsApp का इस्तेमाल शुरू कर दिया था. हम जानते थे कि हम ईमेल पर निर्भर नहीं रह सकते क्योंकि गाँव के लोग उसका इस्तेमाल करना आसान नहीं समझते थे. लेकिन वे सब WhatsApp के बारे में जानते थे और उसका इस्तेमाल करने में उन्हें कोई दिक्कत नहीं थी.”

अपने काम को कारगर बनाने के लिए उन्होंने WhatsApp का इस्तेमाल कैसे किया, इस बारे में और बताते हुए रुपेश कहते हैं “हमने डिपार्टमेंट और जगहों के आधार पर WhatsApp ग्रुप्स बनाए और सभी प्रकार की रिपोर्टिंग, मैनेजमेंट से जुड़ी बातचीत, सब कुछ इन WhatsApp ग्रुप्स के माध्यम से ही होता है.”

WhatsApp पर जुड़े रहने से आपातकालीन स्थितियों से निकलना टीम के लिए आसान हो जाता है. टीम से जुड़े रहने के अलावा, Green People अपने ग्राहकों के साथ नई जगहों और नए प्रोडक्ट की जानकारी शेयर करने के लिए भी WhatsApp का इस्तेमाल करता है.

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